बैठ्यो सजधज कर श्री श्याम,
बाबा खाटू के मंदिर में,
बाबा खाटू के मंदिर में,
बाबा खाटू के मंदिर में,
बैठ्यों सजधज कर श्री श्याम,
बाबा खाटू के मंदिर में।।
कोई निरखे श्याम धणी ने,
कोई नौलख हार मणि ने,
कोई निरखे है सिणगार,
बाबा खाटू के मंदिर में,
बैठ्यों सजधज कर श्री श्याम,
बाबा खाटू के मंदिर में।।
कोई देखे सूरत थारी,
जावे सूरत पे बलिहारी,
हो लेवे थारी नज़र उतार,
बाबा खाटू के मंदिर में,
बैठ्यों सजधज कर श्री श्याम,
बाबा खाटू के मंदिर में।।
थारे मोर मुकुट सर सोहे,
थारी मुरली मनडो मोहे,
हो सोहे रंग बिरंगा हार,
बाबा खाटू के मंदिर में,
बैठ्यों सजधज कर श्री श्याम,
बाबा खाटू के मंदिर में।।
दर्शन देवो शीश का दानी,
आया ‘सुरेश राजस्थानी’,
हो आयो दोनों हाथ पसार,
बाबा खाटू के मंदिर में,
बैठ्यों सजधज कर श्री श्याम,
बाबा खाटू के मंदिर में।।
बैठ्यो सजधज कर श्री श्याम,
बाबा खाटू के मंदिर में,
बाबा खाटू के मंदिर में,
बाबा खाटू के मंदिर में,
बैठ्यों सजधज कर श्री श्याम,
बाबा खाटू के मंदिर में।।
Singer & Writer – Suresh Rajasthani