म्हारा बाबोसा ने खम्मा घणी,
दोहा – चुरू नगर रे माही ने,
बणीयो आपरो धाम,
भक्तो रा दुखड़ा दूर करे,
म्हारा बाबोसा रो नाम।
म्हारा बाबोसा ने खम्मा घणी,
कलयुग अवतारी है जग धणी,
थाने ध्यावे दुनिया सारी,
हनुमत रा आज्ञाकारी,
है माँ छगनी रा लाल,
शरण मैं थारी लियो,
शरणे आयोडा भक्ता ने,
थे दर्श दियो,
प्यारा बाबोसा ने खम्मा घणी,
कलयुग अवतारी है जग धणी।।
चुरू धाम में मंदिर न्यारो,
म्हाने लागे स्वर्ग सु प्यारो,
एक बार जो चुरू जावे,
बण जावे यो ऊण रो सहारो,
जो बाबोसा रो नाम जपे,
दुख संकट ना आवे जी कदे।
थाने ध्यावे दुनिया सारी,
हनुमत रा आज्ञाकारी,
है माँ छगनी रा लाल,
शरण मैं थारी लियो,
शरणे आयोडा भक्ता ने,
थे दर्श दियो,
प्यारा बाबोसा ने खम्मा घणी,
कलयुग अवतारी है जग धणी।।
श्रद्धा से जो टेर लगावे,
बाबोसा दोडया आवे,
चमत्कार दिखाकर बाबा,
भक्तो रा कारज सारे,
म्हारा बाबोसा मनड़े भाया,
दिलड़ा में ज्योत जगाय गया,
थाने ध्यावे दुनिया सारी,
हनुमत रा आज्ञाकारी,
है माँ छगनी रा लाल,
शरण मैं थारी लियो,
शरणे आयोडा भक्ता ने,
थे दर्श दियो,
प्यारा बाबोसा ने खम्मा घणी,
कलयुग अवतारी है जग धणी।।
पंचमी को जन्म है पाये,
पंचमी को स्वर्ग सिधायो,
वो मिग्सर शुक्ला पांचम,
बालाजी ने गोदी बिठाये,
तीनो पंचमी की महिमा भारी,
माध ,भादव , मिग्सर मनोहारी,
थाने ध्यावे दुनिया सारी,
हनुमत रा आज्ञाकारी,
है माँ छगनी रा लाल,
शरण मैं थारी लियो,
शरणे आयोडा भक्ता ने,
थे दर्श दियो,
प्यारा बाबोसा ने खम्मा घणी,
कलयुग अवतारी है जग धणी।।
थे भक्तो रा हितकारी,
घर घर में है चर्चा थारी,
मंजू बाईसा उपकारी,
‘दिलबर’ जाये बलिहारी,
‘नीता’ ने भक्ति रो रंग चढ़ाया गयो,
म्हारो जीवन सफल बणाय गयो,
थाने ध्यावे दुनिया सारी,
हनुमत रा आज्ञाकारी,
है माँ छगनी रा लाल,
शरण मैं थारी लियो,
शरणे आयोडा भक्ता ने,
थे दर्श दियो,
प्यारा बाबोसा ने खम्मा घणी,
कलयुग अवतारी है जग धणी।।
म्हारा बाबोसा ने खम्मा घणी,
कलयुग अवतारी है जग धणी,
थाने ध्यावे दुनिया सारी,
हनुमत रा आज्ञाकारी,
है माँ छगनी रा लाल,
शरण मैं थारी लियो,
शरणे आयोडा भक्ता ने,
थे दर्श दियो,
प्यारा बाबोसा ने खम्मा घणी,
कलयुग अवतारी है जग धणी।।
गायिका – नीता जी नायक राजस्थान।
रचनाकार – दिलीपसिंह सिसोदिया ‘दिलबर’।
9907023365