तेरे दामन की छाँव में,
बाबा तेरी पनाह में,
मुझे रख लो,
चौखट पे हूँ खड़ा मैं सांवरे,
तेरी शरण पड़ा,
चौखट पे हूँ खड़ा मैं सांवरे,
तेरी शरण पड़ा,
सांवरिया ओ कन्हैया,
सांवरिया ओ कन्हैया,
ओ मेरे श्याम,
चौखट पे हूँ खड़ा मैं सांवरे,
तेरी शरण पड़ा।।
तर्ज – कभी बंधन जुड़ा लिया।
कहूं क्या गैर की तुमसे,
चोट अपनों ने दी है,
लुटाया खुद को जिनपे,
उन्ही ने खुशियां ली है,
हुए बेगाने थे अपने,
किया है मुझको भी बावरा,
किया है मुझको भी बावरा,
सांवरिया ओ कन्हैया,
ओ मेरे श्याम,
चौखट पे हूँ खड़ा मैं सांवरे,
तेरी शरण पड़ा।।
बड़े खुदगर्ज़ ये दुनिया,
काम के रिश्ते नाते,
सुखों में साथ हैं चलते,
हैं दुःख में पीठ दिखाते,
दिया है धोखा सबने,
भरोसा तू ही है सांवरा,
भरोसा तू ही है सांवरा,
सांवरिया ओ कन्हैया,
ओ मेरे श्याम,
चौखट पे हूँ खड़ा मैं सांवरे,
तेरी शरण पड़ा।।
पुकारा भक्त ने जब भी,
दौड़ के तू ही आया,
भराया भात कहीं पे,
कहीं पे चीर बढ़ाया,
लाज ‘राघव’ की भी रख लो,
करूँ बस ये ही मैं कामना,
करूँ बस ये ही मैं कामना,
सांवरिया ओ कन्हैया,
ओ मेरे श्याम,
चौखट पे हूँ खड़ा मैं सांवरे,
तेरी शरण पड़ा।।
तेरे दामन की छाँव में,
बाबा तेरी पनाह में,
मुझे रख लो,
चौखट पे हूँ खड़ा मैं सांवरे,
तेरी शरण पड़ा,
चौखट पे हूँ खड़ा मैं सांवरे,
तेरी शरण पड़ा,
सांवरिया ओ कन्हैया,
सांवरिया ओ कन्हैया,
ओ मेरे श्याम,
चौखट पे हूँ खड़ा मैं सांवरे,
तेरी शरण पड़ा।।
Singer – Tatsha Gupta