नवरात्री का त्यौहार आया,
वैष्णो मैया ने हमको बुलाया।।
माता जिनको बुलाए,
वही भक्त दर पे आए,
माता जिनको बुलाए,
वही भक्त दर पे आए,
ऊँचे पर्वत पे दरबार लगाया,
वैष्णो मैया ने हमको बुलाया।।
वही लोग है निराले,
नाम जिसका माँ बुलाले,
भक्त वही है निराले,
नाम जिसका माँ बुलाले,
फल माँ की कृपा वही पाया,
वैष्णो मैया ने हमको बुलाया।।
सारे कष्ट करे दूर,
मैया जग में मशहूर,
सारे कष्ट करे दूर,
मैया जग में मशहूर,
लिखके ‘देवेंद्र’ यही गाया,
वैष्णो मैया ने हमको बुलाया।।
नवरात्री का त्यौहार आया,
वैष्णो मैया ने हमको बुलाया।।
स्वर – श्री देवेन्द्र पाठक जी महाराज।