दिल्ली घुम्यो मुंबई घुम्यो,
मैं घुम्यो गुजराता में,
बालाजी मारो सालेड़ा में बेठ्यो,
मैं ढूंढ्यो देश विदेशा में।।
बालाजी महाराज थारी,
लीला देखी न्यारी रे,
नाम थारो दुनिया में चाले,
मैं ढूंढ्यो देश विदेशा में।।
गाड़ी में बेठ्यो मोटर में बेठ्यो,
बेठ्यो रेलगाड़ी मे,
बालाजी मारो पट्टी खेड़ा में बेठ्यो,
मैं ढूंढ्यो देश विदेशा में।।
गांव सालेड़ा माईने थारो,
मंदिर बनियो भारी रे,
भगत दूरा-दूरा सू आवे,
मैं ढूंढ्यो देश विदेशा में।।
नरेश आयो नंदू भी आयो,
मांगीलाल जी भी आया रे,
नाम थारो दुनिया में चाले,
मैं ढूंढ्यो देश विदेशा में।।
दिल्ली घुम्यो मुंबई घुम्यो,
मैं घुम्यो गुजराता में,
बालाजी मारो सालेड़ा में बेठ्यो,
मैं ढूंढ्यो देश विदेशा में।।
गायक / प्रेषक – नरेश धाकड़।
मो. 9214511673