माता अंजनी के लाल हनुमान रे,
चले ठुमक ठुमक बाल हनुमान रे,
बाल हनुमान देखो करे है कमाल,
नाच रहे अँगना में वो दे दे ताल,
माता अंजनी के लाल हनुमान रे।।
अरे घुंघराले बाल मुख चमक रहा लाल,
पांव घुँघरू बांधे क्या गजब की है चाल,
नाचे जब हनुमान झूमे घरती आसमान,
देवता गा रहे है गान छेड़ वीणा की तान,
देखे ब्रह्म विष्णु शंकर भगवान,
अंजने नगर की अजब थी शान,
माता अंजनी के लाल हनुमान रे।।
धन्य वीरा है आज हर्षित है कपिराज,
अपने लाल पर माता अंजनी को नाज,
छाई खुशियाँ अपार हो रही जय जयकार,
देखो नाचे हनुमत लिए हाथो में करताल,
भक्तो हनुमत की महिमा महान,
चरणों में ‘दिलबर’ झुकता जहान,
माता अंजनी के लाल हनुमान रे।।
माता अंजनी के लाल हनुमान रे,
चले ठुमक ठुमक बाल हनुमान रे,
बाल हनुमान देखो करे है कमाल,
नाच रहे अँगना में वो दे दे ताल,
माता अंजनी के लाल हनुमान रे।।
गायिका – वर्षा श्रीवास्तव।
लेखक – दिलीप सिंह सिसोदिया ‘दिलबर’।
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