आजा अब तो साँवरे,
क्यों देर लगाए,
हारे हुए अपने प्रेमी को,
हारे हुए अपने प्रेमी को,
और हराए,
आजा अब तो सांवरे,
क्यों देर लगाए।bd।
तर्ज – बांह पकड़ ले सांवरे कहीं।
तेरे सिवा नहीं कोई हमारा,
है इस जग में,
डूब रही है नैया मेरी,
नहीं है बस में,
हार के बैठ गई जग से,
तुझे अर्ज लगाए,
आजा अब तो सांवरे,
क्यों देर लगाए।bd।
जहां जहां पर जाकर,
मैंने हाथ फैलाया,
उसने ही खाटू वाले,
मुझे खूब रुलाया,
तू ही आके फर्ज निभा,
क्यों और सताए,
आजा अब तो सांवरे,
क्यों देर लगाए।bd।
अब तो तेरा मेरा प्रेम ये,
जग जानेगा,
भक्ति में कितनी शक्ति है,
जग मानेगा,
‘भानु’ अब भी हार गया तो,
यहीं मर जाए,
आजा अब तो सांवरे,
क्यों देर लगाए।bd।
आजा अब तो साँवरे,
क्यों देर लगाए,
हारे हुए अपने प्रेमी को,
हारे हुए अपने प्रेमी को,
और हराए,
आजा अब तो सांवरे,
क्यों देर लगाए।bd।
Singer – Mamta Sawariya