आभास दो कुछ मुझे,
पास तुम हो ना।।
असुवन कहे जुबानी,
तुझसे मेरी कहानी,
तुझे भी लगे साँवरिये,
आंसू मेरे क्या पानी,
इतना मुझे बताओ,
मौजूदगी जताओ,
आभास दों कुछ मुझे,
पास तुम हो ना।।
जग से फिरे छुपाते,
तुझे हाले दिल दिखाते,
राज़े सवाल दिल के,
तुझे पूछते ही जाते,
अरमान बस ये मेरा,
आए जवाब तेरा,
आभास दों कुछ मुझे,
पास तुम हो ना।।
सुन मेरी श्याम आया,
आकर गले लगाया,
तेरे आस पास हूँ मैं,
तू ही समझ ना पाया,
‘गोलू’ छुपा नहीं मैं,
तू देख यही हूँ मैं,
निराश क्यों हो रहा,
पास मैं हूँ ना।।
आभास दो कुछ मुझे,
पास तुम हो ना।।
गायक – विवेक जी शर्मा।