करै परेशान कती तोडै़ गात नै,
बाला जी महाराज आकै,
पेस्सी डाट नै।।
संकट हारी हे बलकारी,
आकै सम्भाल ले मूगदरधारी,
तावला सा आज्या ना,
दिखावै बाट नै,
बालाजी महाराज आके,
पेस्सी डाट नै।।
रोग काटणा काम तूम्हारा,
मेरे काम म क्यों देर लगा रया,
दूनीया की सूणै दूख,
मेरे बांट नै,
बालाजी महाराज आके,
पेस्सी डाट नै।।
कुणसा मेरा खोट बतादे,
क्यों लाग्गी या चोट बतादे,
बिगडी़ फिरै सै,
बचाले जात नै,
बालाजी महाराज आके,
पेस्सी डाट नै।।
कलयुग म तू देवता सच्चा,
नादान गजेन्द्र सै तेरा बच्चा,
दूवीधा की सर तै,
घटा न छांट नै,
बालाजी महाराज आके,
पेस्सी डाट नै।।
करै परेशान कती तोडै़ गात नै,
बाला जी महाराज आकै,
पेस्सी डाट नै।।
गायक – लक्की शर्मा पिचौलिया।
लेखक – गजेन्द्र स्वामी बैरागी कुड़लाण वाले।
9996800660