दरबार में सच्चे सतगुरु के दुःख दर्द मिटाये जाते है लिरिक्स
दरबार में सच्चे सतगुरु के, दुःख दर्द मिटाये जाते है, दुनियाँ के सताए लोग यहाँ, सीने से लगाए जाते हैं,...
Read moreदरबार में सच्चे सतगुरु के, दुःख दर्द मिटाये जाते है, दुनियाँ के सताए लोग यहाँ, सीने से लगाए जाते हैं,...
Read moreशरद की पूनम पर, जो भी कड़छा जाते हैं, गुरूवर टेकचंद जी, उनको गले से लगाते हैं।। तर्ज - आदमी...
Read moreहे गुरूजी हमें दुनिया की, बुराई से बचाना, बच्चे है तेरे हम, हमें चरणों से लगाना।। सतनाम श्री वाहे गुरु,...
Read moreसारी दुनिया से हार के मैं आया, गुरु जी तेरी चौखट पे, आके द्वार पे बड़ा सुख पाया, आके द्वार...
Read moreधन्य तुम्हारा गुरुदेव जी, मुझ पर जो उपकार किया, मेरी ऊँगली पकड़ के तुमने, मुझको भव से पार किया, धन्य...
Read moreसुचिता से भर दो, हमें शुद्ध कर दो, नीत ज्ञान देकर हमें बुद्ध कर दो।। आशीष से हम हुए प्राण...
Read moreहे गुरुदेव तुमको नमन, आ गया मैं तुम्हारी शरण, दे हमें ज्ञान तू, हर ले अज्ञान तू, कर दूँ अर्पण...
Read moreमात पिता गुरु प्रभु चरणों में, धर ले मनवा ध्यान, इन्ही से है अपना कल्याण, इन्ही से है अपना कल्याण,...
Read moreअपने अंतरमन में, गुरु का सुमिरन कर ले, फिर सँवर जाएगी, ये तेरी जिन्दगी।। तर्ज - ये रेशमी जुल्फें। ध्यान...
Read moreतेरी हर मुश्किल आसान, मिले जब गुरु से ज्ञान, तेरा गुरु ही है भगवान, तू करके गुरु का ध्यान।। फैला...
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