भजन बिना काहे को देह धरी लिरिक्स
भजन बिना काहे को देह धरी, गटक चटक सू खायो सोयो, सुमिरयो नाहीं हरि, भजन बिना काहे को देह धरी।।...
Read moreभजन बिना काहे को देह धरी, गटक चटक सू खायो सोयो, सुमिरयो नाहीं हरि, भजन बिना काहे को देह धरी।।...
Read moreम्हारे आया आया आया, म्हारे राम लखन घर आया, जब देख्या रघुवर आता, ज्यारे संग में लक्ष्मण भ्राता, वा दौड़ी...
Read moreदेखा अपने आप को, मेरा दिल दीवाना हो गया, ना छेड़िये यारों मुझे, मैं खुद मस्ती में आ गया।। लाखों...
Read moreतू है सो मैं ही हूँ, मैं हूँ सो तू ही हैं, भगवान तुझ में मुझ में, अन्तर जरा नहीं...
Read moreसदा सतसंग की महिमा, मुबारक हो मुबारक हो।। जगत को जलता देख करके, प्रभु ने ज्ञान घटा भेजी, बुझावे ताप...
Read moreगजब तेरा नूर नूरानी, मेरा दिल देख हुआ पानी।। लगा तेरे इश्क का झोला, मेरा दिल सख्त गला ओला, जबां...
Read moreइलाही नाम का सौदा, कमा ले जिस का जी चाहे।। देखे - लगाले प्रेम ईश्वर से। छोड़ सब दुनिया का...
Read moreभेरूजी थारा द्वार पे, आयो हूँ दुखड़ा टार दे, कंकाली रा लाल भेरू जी, ऊबो थारे बारणे, भेरू जी थारा...
Read moreकरो बीज ने भजो भगवत ने, सकल कला मोटो संसार, दसवे निकलंक देव अवतरे, बीज शनि दिन रूड़ो वार जे।।...
Read moreदुर धरा से आई मैया, सुनकर तेरे धाम में, दया करो मेरी माँ नारायणी, ताकत तेरे नाम में।। बुरा कहा...
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