ग्यारस की रात हो,
ना मांगे चांदी सोना,
ना मांगे हिरा मोती,
हो जाए दर्श तुम्हारा,
चाहत अपनी एकलौती,
जल्दी से जल्दी तुमसे,
मिलने की बात हो,
हम बैठे हो खाटू में,
कुछ ऐसी करामात हो,
ग्यारस की रात हों।।
हमने तो अर्ज गुजारी,
आगे मर्जी है तुम्हारी,
हम तो बेताब बड़े है,
पाने को झलक तुम्हारी,
भादों वाला दिन भादों,
वाली वो रात हो,
हम बैठे हो खाटू में,
कुछ ऐसी करामात हो,
ग्यारस की रात हों।।
प्रभु इतनी किरपा कर दो,
होगा उपकार तुम्हारा,
आ पाए हम खाटू में,
करने को भजन तुम्हारा,
बाबा तेरे भक्तो के सर,
पर तेरा हाथ हो,
हम बैठे हो खाटू में,
कुछ ऐसी करामात हो,
ग्यारस की रात हों।।
ना मांगे चांदी सोना,
ना मांगे हिरा मोती,
हो जाए दर्श तुम्हारा,
चाहत अपनी एकलौती,
जल्दी से जल्दी तुमसे,
मिलने की बात हो,
हम बैठे हो खाटू में,
कुछ ऐसी करामात हो,
ग्यारस की रात हो,
ग्यारस की रात हों।।
Singer & Lyrics – Tinka Soni