झोली भर दे या म्हारी झोली भर दे,
ओ म्हारा श्याम धणी दातार,
म्हारी झोली भर दे।।
तर्ज – एक बार आवो जी।
घणे चाव से प्रेम भाव से,
थाने आज रिझावा,
सारो कुटुंब साथ में लेके,
चरणा में सो जावा,
ओ म्हारा, ओ म्हारा,
ओ म्हारा श्याम धणी दातार,
म्हारी झोली भर दे।।
एक आसरो थारो बाबा,
था पर दारमदार,
थारे भरोसे सदा रेवे बाबा,
थारो यो परिवार,
ओ म्हारा, ओ म्हारा,
ओ म्हारा श्याम धणी दातार,
म्हारी झोली भर दे।।
थारे आशीर्वाद से बाबा,
घर में खुशियां आवे,
नजर दया की थे कर दे,
वो मन चाहा हो जावे,
ओ म्हारा, ओ म्हारा,
ओ म्हारा श्याम धणी दातार,
म्हारी झोली भर दे।।
थे ही संकट काटो बाबा,
सदा करो रखवाली,
निर्भय होके जग में डोला,
थाने फ़िक्र है म्हारी,
ओ म्हारा, ओ म्हारा,
ओ म्हारा श्याम धणी दातार,
म्हारी झोली भर दे।।
‘बिन्नू’ की विनती थारे से,
मोकलो प्यार लुटा जो,
चरणा में थारे ढोक लगावा,
म्हाने भूल ना जाजो,
ओ म्हारा, ओ म्हारा,
ओ म्हारा श्याम धणी दातार,
म्हारी झोली भर दे।।
झोली भर दे या म्हारी झोली भर दे,
ओ म्हारा श्याम धणी दातार,
म्हारी झोली भर दे।।