काई कारण आयो जिवडा,
कई करवा लागो रे,
मानखो मिल गयो हो,
तने मूंगा मोल रो।।
लख चौरासी में भटकत भटकत,
अब के अवसर आयो ये,
करले उजियारो गुरु नाम रो,
मानखो मिल गयो हो,
तने मूंगा मोल रो।।
गर्भ मास में भिड़ पड़ी जब,
काल करके आयो रे,
मार्गयो भूल्यो थे म्हारे देश रो,
मानखो मिल गयो हो,
तने मूंगा मोल रो।।
खड़ी खड़ी आख्या काई काढ़े,
हाथ काई नहीं आवे,
आख्या तो यमराज,
थारी काढसी,
मानखो मिल गयो हो,
तने मूंगा मोल रो।।
सत्य धर्मके पर हाल जिवडा,
जोय जोय पग धर्जो रे,
दूधडलो लाजे थारी माय को,
मानखो मिल गयो हो,
तने मूंगा मोल रो।।
सतगुरु साहिब मेहर करी,
भाग पुरबला जागे है,
संत केवे रे भाया साम्भ्लो,
मानखो मिल गयो हो,
तने मूंगा मोल रो।।
काई कारण आयो जिवडा,
कई करवा लागो रे,
मानखो मिल गयो हो,
तने मूंगा मोल रो।।
गायक – हरलाल करकेडी
Upload – Jethu Solanki
9166128186
Nice
Nice bhajan
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