हांसु तो हास्या ना जा,
रोऊं तो रोया ना जा,
कैसी या हालत होरी बालाजी।।
घंटी सी बाजे जा स,
मेरे हो घट में,
फोटु ने देखें जा सुं,
पलट पलट मैं,
बेदन सी छिड़री भारी,
बैरा ना के बिमारी,
कैसी या हालत होरी बालाजी,
हासु तो हास्या ना जा,
रोऊं तो रोया ना जा,
कैसी या हालत होरी बालाजी।।
चौबीस घंटे तेरी,
बात करुं सुं,
सेवा में हाजिर अपणा,
गात करुं सुं,
घटते आंखया के मोती,
घटती आव स ज्योति,
कैसी या हालत होरी बालाजी,
हासु तो हास्या ना जा,
रोऊं तो रोया ना जा,
कैसी या हालत होरी बालाजी।।
मन मेरा लागया रह स,
तेरे भजन में-2,
शुध्द बुध्दि खोदी बाबा,
तेरी लग्न में,
लोग चिड़ावण लागे,
पागल बतावण लागे,
कैसी या हालत होरी बालाजी,
हासु तो हास्या ना जा,
रोऊं तो रोया ना जा,
कैसी या हालत होरी बालाजी।।
महेन्द्रभठ का दिल मत तोड़े,
बीच बिचालअ मतना हो छोडे,
चरणां में दे बसेरा,
सतबीर भक्त स तेरा,
कैसी या हालत होरी बालाजी,
हासु तो हास्या ना जा,
रोऊं तो रोया ना जा,
कैसी या हालत होरी बालाजी।।
हांसु तो हास्या ना जा,
रोऊं तो रोया ना जा,
कैसी या हालत होरी बालाजी।।
प्रेषक – राकेश कुमार।
खरक जाटान(रोहतक)
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