माँ अम्बे हर साल यूँ ही,
घर मेरे आते रहना,
नवरातो में यूँ ही सदा,
सुख बरसाते रहना।।
तर्ज – जाते हो परदेस।
आपके आने से ही मैया,
मन पावन हो जाता है,
आपके मंदिर से ही मैया,
घर आँगन हो जाता है,
सिंह सवारी जब आती हो,
लेके खुशी के रंग आती हो,
प्यार की मूरत हो मैया,
प्यार लुटाते रहना,
माँ अम्बे हर साल यूं ही,
घर मेरे आते रहना।।
जब से तुम्हारे चरण पडे है,
मेरे भाग्य की चौखट पे,
तबसे मेहरबान है मां लक्ष्मी,
हरपल मेरी किस्मत पे,
मंगल ही मंगल है मैया,
जबसे मिली है आपकी सेवा,
अपना आशीर्वाद हमेशा,
हम पे लुटाते रहना,
माँ अम्बे हर साल यूं ही,
घर मेरे आते रहना।।
सफल हुए है कारज सारे,
कोई काम नहीं जीवन में,
हमको हमेशा बांधे रखना,
अपने प्रेम के बंधन में,
मैया यूँ ही निभाते रहना,
नाता यूँ ही निभाते रहना,
दर्शन दीवानी अखियों को,
दरस दीखाते रहना,
माँ अम्बे हर साल यूं ही,
घर मेरे आते रहना।।
माँ अम्बे हर साल यूँ ही,
घर मेरे आते रहना,
नवरातो में यूँ ही सदा,
सुख बरसाते रहना।।
गायक – मुकेश कुमार मीणा।