मै तो तुम संग नैन मिला के,
हार गई सांवरिया,
मै तो तुम संग प्रीत लगा के,
हार गई सांवरिया।।
तर्ज – मैं तो तुम संग नैन मिलाके।
मो पे अपना रंग चढ़ा के,
छुप गया छलीया नैन मिला के,
प्रेम दिवानी मोहे बना के,
छोड दिया मजधार मे लाके,
ली ना मोरी खबरीया,
हार गई सांवरिया।।
ढुंढ लिया सारा नन्दगाव,
यमुना का तट कदम्ब की छाव,
थक गये कन्हा मेरे पाव,
तु जाने ना जाने मोहन,
जाने सारी नगरीया,
हार गई सांवरिया।।
टुट ना जाये आस कि माला,
अपना ले मुझे हे गोपाला,
या भीजवा दे विश का प्याला,
कोई कहे मुझे जोगन तेरी,
कोई कहे बावरीया,
हार गई सांवरिया।।
तुझमे बसे मेरे प्रान कन्हैया,
तुझसे मेरी पेहचान कन्हैया,
करना एक अह्सान कन्हैया,
अगले जनम मे मोहे बनाना,
तु अपनी बासुरीया,
हार गई सांवरिया।।
मै तो तुम संग नैन मिला के,
हार गई सांवरिया,
मै तो तुम संग प्रीत लगा के,
हार गई सांवरिया।।