मेरे लगया ओपरा रोग,
हो मेरे बाला जी।।
पागल कैसा ढंग हो रहया स,
तेरा भगत यो तंग हो रहया स,
रहया कुणसी करनी भोग,
हो मेरे बाला जी,
मेर लगया ओपरा रोग,
हो मेरे बाला जी।।
रातुं मारे जा किलकारी,
संकट देही तोड़ दे सारी,
ना छोडे चालन जोग,
हो मेरे बाला जी,
मेर लगया ओपरा रोग,
हो मेरे बाला जी।।
तेरी ज्योत पर झुमें जा सुं,
ले पत्थर मै घूमे जा सुं,
मनै पागल कहते लोग,
हो मेरे बाला जी,
मेर लगया ओपरा रोग,
हो मेरे बाला जी।।
सतगुरु राम सिंह का चेला,
कप्तान शर्मा का मेट झमेला,
कोई ऐसा बना दे योग,
हो मेरे बाला जी,
मेर लगया ओपरा रोग,
हो मेरे बाला जी।।
मेरे लगया ओपरा रोग,
हो मेरे बाला जी।।
गायक – नरेंद्र कौशिक जी।
प्रेषक – राकेश कुमार।
खरक जाटान(रोहतक)
9992976579
https://youtu.be/EXtjpXnqBgw