हरपल हर दिन पूजूँ माँ को,
कितना पावन रूप है,
माँ के आँचल की छावों में,
लगती कभी ना धुप है,
जब जब भी माँ को पुकारूँ मैं,
मूरत को इसकी निहारूं मैं,
मेरी माँ आ जाती मेरे सामने,
ओ मेरी मां आ जाती मेरे सामने।bd।
तर्ज – जब तुम आ जाते हो सामने।
खुश हो जाए जब ये मैया,
सोया भाग्य जगा देती,
हाथ पकड़ के बिच भंवर से,
नैया पार लगा देती,
जब आरती इसकी उतारूं मैं,
मूरत को इसकी निहारूं मैं,
मेरी मां आ जाती मेरे सामने,
ओ मेरी मां आ जाती मेरे सामने।bd।
जब मैं कहीं पर ठोकर खाऊं,
मैया बांह पकड़ लेती,
जीवन की मुश्किल घड़ियों में,
मैया सहारा दे देती,
मैया के चरण पखारूँ मैं,
मूरत को इसकी निहारूं मैं,
मेरी मां आ जाती मेरे सामने,
ओ मेरी मां आ जाती मेरे सामने।bd।
जब भी मुझको नींद ना आए,
मैया झूला झुलाती है,
ममता बारिश करती माँ,
लोरी हमें सुनाती है,
माँ का ऋण कैसे चुकाऊं मैं,
Bhajan Diary Lyrics,
मूरत को इसकी निहारूं मैं,
मेरी मां आ जाती मेरे सामने,
ओ मेरी मां आ जाती मेरे सामने।bd।
हरपल हर दिन पूजूँ माँ को,
कितना पावन रूप है,
माँ के आँचल की छावों में,
लगती कभी ना धुप है,
जब जब भी माँ को पुकारूँ मैं,
मूरत को इसकी निहारूं मैं,
मेरी माँ आ जाती मेरे सामने,
ओ मेरी मां आ जाती मेरे सामने।bd।
Singer – Satya Adhikari