सालासर बालाजी,
खाटू के श्री श्याम,
एक तो संकटहारी,
दूजे हारे के है श्याम।bd।
तर्ज – आदमी मुसाफिर है।
बालाजी जो निशदिन ध्यावे,
जीवन में नहीं संकट आवे,
श्याम धणी को जो शीश नवावे,
भंडारे भर भर के लुटावे,
सच्चे मन से लो इनका नाम,
सालासर बाला जी,
खाटू के श्री श्याम,
एक तो संकटहारी,
दूजे हारे के है श्याम।bd।
बालाजी के हाथ में सोटो,
काम करे यो मोटो मोटो,
तीन बाण धारी है खाटू वाला,
बनता है हारे का सहारा,
करते है पूरण भक्तो के काम,
सालासर बाला जी,
खाटू के श्री श्याम,
एक तो संकटहारी,
दूजे हारे के है श्याम।bd।
‘संदीप शर्मा’ कोतबा वाला,
हरदम जपता दोनों की माला,
संकट में जो दिल से पुकारे,
खोलते ये किस्मत का ताला,
जपलो दोनों को सुबहो और शाम,
Bhajan Diary Lyrics,
सालासर बाला जी,
खाटू के श्री श्याम,
एक तो संकटहारी,
दूजे हारे के है श्याम।bd।
सालासर बालाजी,
खाटू के श्री श्याम,
एक तो संकटहारी,
दूजे हारे के है श्याम।bd।
Singer & Lyrics – Sandeep Sharma