टूटी लकीरे भी हो हाथों में,
तो सवरती है तक़दीर,
खाटू धाम जाने से,
तो संवरती है तक़दीर,
खाटू धाम जाने से।।
तर्ज – चूड़ी जो खनकी।
डगमग डगमग नैया डोले,
माझी बनकर श्याम चले,
भव से पार हो नैया जो,
बाबा श्याम खिवैया हो,
बिगड़ी हो किस्मत भी कभी,
बिगड़ी हो किस्मत भी कभी,
तो बनती है तकदीर,
फागुण मेले में जाने से,
तो संवरती है तक़दीर,
खाटू धाम जाने से।।
हारे का तू सहारा है,
तेरे बिन कौन हमारा है,
हर संकट से बाबा तूने,
हम भक्तों को उबारा है,
महिमा ऐसी नाम की,
महिमा ऐसी नाम की,
तो बनती है तकदीर,
ग्यारस पे खाटू जाने से,
तो संवरती है तक़दीर,
खाटू धाम जाने से।।
टूटी लकीरे भी हो हाथों में,
तो सवरती है तक़दीर,
खाटू धाम जाने से,
तो संवरती है तक़दीर,
खाटू धाम जाने से।।
Singer – Megha Parsai