रोती आंखे रोने दे,
श्याम चरण को धोने दे,
गम आंसू में ढल जाए,
शायद श्याम पिघल जाए,
शायद श्याम पिघल जाये।।
ये मायत हम बच्चे है,
दुःख सहने में कच्चे है,
समझे जो दिल की बातें,
रोना बस उसके आगे,
पत्थर दिल भी हिल जाये,
शायद श्याम पिघल जाये।।
गम जो हद से बढ़ जाए,
आंसू बनकर बह जाए,
जब कोई प्रेमी रोता है,
दर्द श्याम को होता है,
पता श्याम को चल जाये,
शायद श्याम पिघल जाये।।
श्याम के संमुख रोयेगा,
पाप तेरे ये धोयेगा,
रो रो जब थक जायेगा,
पल में काम बन जायेगा,
संकट सारे टल जाये,
शायद श्याम पिघल जाये।।
दौलत से ना रीझेगा,
आंसू से ही पसीजेगा,
‘हर्ष’ तू दर पे शीश झुका,
आंसू की सौगात चढ़ा,
भक्ति तेरी ढल जाये,
शायद श्याम पिघल जाये।।
रोती आंखे रोने दे,
श्याम चरण को धोने दे,
गम आंसू में ढल जाए,
शायद श्याम पिघल जाए,
शायद श्याम पिघल जाये।।
Singer – Mukesh Bagda
Upload By – Ravi Agrawal
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