श्याम बाबा श्याम बाबा,
तेरे पास आया हूँ,
चरणों में तेरे अरदास लाया हूँ,
चरणों में तेरे अरदास लाया हूँ।।
सच्चा है दरबार तुम्हारा,
संकट काटो श्याम हमारा,
जब जब भीड़ पड़ी भक्तों पे,
बाबा नंगे पांव पधारा,
दुःख हरना मेरे दुःख हरना,
तेरा गुण गाया हूँ,
चरणों में तेरे अरदास लाया हूँ,
चरणों में तेरे अरदास लाया हूँ।।
दीन दयाल दया के सागर,
फिर क्यों खाली मेरी गागर,
विनती मेरी तुम सुन लेना,
श्याम मुरारी हे नटनागर,
भर देना झोली भर देना,
यही आस लाया हूँ,
चरणों में तेरे अरदास लाया हूँ,
चरणों में तेरे अरदास लाया हूँ।।
जब फागुन का मेला होगा,
अपने पास बुलाना होगा,
मैं मारूंगा भर पिचकारी,
तुमको रंग लगाना होगा,
खेलूंगा होली खेलूंगा,
रंग गुलाल लाया हूँ,
चरणों में तेरे अरदास लाया हूँ,
चरणों में तेरे अरदास लाया हूँ।।
जब जब तेरी याद सतावे,
‘श्याम सुंदर’ नैनों में पावे,
सब भक्तों की यही कामना,
सारा जगत सुखी हो जावे,
कर देना सुखी कर देना,
तेरे गीत गाया हूँ,
चरणों में तेरे अरदास लाया हूँ,
चरणों में तेरे अरदास लाया हूँ।।
श्यामबाबा श्यामबाबा,
तेरे पास आया हूँ,
चरणों में तेरे अरदास लाया हूँ,
चरणों में तेरे अरदास लाया हूँ।।
रचियता – श्यामलीन श्री श्याम जी सुंदर शर्मा।
गायक – संजू शर्मा जी।
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