श्याम इतना बता दो जरा तुम मुझे,
गमज़दा क्यों मेरी ज़िन्दगी रह गई,
या तो तेरे करम ने तवज्जो ना दी,
या तो पूजा में मेरी कमी रह गई,
श्याम इतना बता दों जरा तुम मुझे,
गमज़दा क्यों मेरी ज़िन्दगी रह गई।।
तर्ज – मेरे रश्के कमर।
नाम तन मन से जब मैंने तेरा लिया,
श्याम बाबा ने सब काम मेरा किया,
रात सपने में बाबा ने दर्शन दिए,
ये नजरिया लड़ी की लड़ी रह गई,
श्याम इतना बता दों जरा तुम मुझे,
गमज़दा क्यों मेरी ज़िन्दगी रह गई।।
भक्त सहते है लाखो कसाले यहाँ,
पापियों के बड़े बोल-बाले यहाँ,
ऐश बंगलो में बगुला भगत कर रहे है,
टूटी क्यों दास की झोपड़ी रह गई,
श्याम इतना बता दों जरा तुम मुझे,
गमज़दा क्यों मेरी ज़िन्दगी रह गई।।
कष्ट सारा ‘बिजेन्दर’ का हर लीजिये,
हाथ ‘चंदन’ के सर पे भी धर दीजिये,
मन में मंदिर बना दिल में ज्योति जगा,
मेरे मन में सुरतिया जड़ी रह गई,
श्याम इतना बता दों जरा तुम मुझे,
गमज़दा क्यों मेरी ज़िन्दगी रह गई।।
श्याम इतना बता दो जरा तुम मुझे,
गमज़दा क्यों मेरी ज़िन्दगी रह गई,
या तो तेरे करम ने तवज्जो ना दी,
या तो पूजा में मेरी कमी रह गई,
श्याम इतना बता दों जरा तुम मुझे,
गमज़दा क्यों मेरी ज़िन्दगी रह गई।।
Singer – Chandan Sharma
Very nice very very….good