तेरा बालक परेशान है,
देख कैसा ये तूफान है,
घेर कर है खड़ी मुश्किलें,
तू कहां रह गया श्याम है।।
तर्ज – ये तो सच है की।
सुख के दिन में मुझे,
सारे प्यारे मिले,
पर बुरे वक्त में,
बंद द्वारे मिले,
झूठे जग की ये पहचान है,
झूठे रूतबे पे अभिमान है,
घेर कर है खड़ी मुश्किलें,
तू कहां रह गया श्याम है।।
हाथ फैले हैं जो,
आज ये सामने,
आना होगा तुम्हें,
अब इन्हें थामने,
जान के भी क्यों अनजान है,
तू तो दाता दयावान है,
घेर कर है खड़ी मुश्किलें,
तू कहां रह गया श्याम है।।
लाज जाएगी ये,
गर ना आए अभी,
क्या पता घुट के दम,
मर ना जाएं अभी,
तेरे आगे जो इन्सान है,
देखले नन्हीं सी जान है,
घेर कर है खड़ी मुश्किलें,
तू कहां रह गया श्याम है।।
तेरा बालक परेशान है,
देख कैसा ये तूफान है,
घेर कर है खड़ी मुश्किलें,
तू कहां रह गया श्याम है।।
Singer – Raj Pareek Ji
Upload By – Prashant Sharma
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